कटनी - जिले में पुरातत्व, ऐतिहासिक और पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण स्थलों को चिन्हांकित कर इन्हें जोड़ने के लिये पर्यटन सर्किट तैयार करने के निर्देश जिला पर्यटन संवर्धन परिषद् की बैठक में दिए गए तथा इस संबंध में चर्चा की गई है।
प्राप्त जानकारी अनुसार बैठक में कलेक्टर शशिभूषण सिंह ने बताया कि शासन द्वारा पुरातत्व संग्रहालय और पर्यटन की गतिविधियों को समन्वित रुप से क्रियान्वयन के लिये समाहित कर जिला पर्यटन संवर्धन परिषद् का गठन किया गया है। जिले में पर्यटन संवर्धन को बढ़ावा देने, पर्यटन कार्यों की समीक्षा व अन्य पर्यटन विकास संबंधी चर्चा के लिये गठित इस समिति में नोडल अधिकारी जिला पंचायत के सीईओ को बनाया गया है। परिषद की प्रथम बैठक में जिले में पुरातत्व महत्व और ऐतिहासिक, पर्यटन एवं स्वतंत्रता संग्राम से संबंधित स्थलों को सूचीबद्ध कर सर्किट तैयार करने का निर्णय लिया गया। इनमें प्रमुख रुप से विजयराघवगढ़ का किला, बिलहरी, रुपनाथ, रीठी मुहास, कारीतलाई, खितौली की वन सम्पदा, बसुधा वॉटर फॉल, करौंदी भू-मध्य रेखा मिड पॉइन्ट, जोगिया बाबा स्थल सहित कटाये घाट प्राचीन मंदिर और धार्मिक, सुरम्य वन सम्पदा के स्थलों के संबंध में चर्चा की गई। संग्रहालयाध्यक्ष पी0सी0 महोबिया ने कटनी जिलेमें यत्र-तत्र बिखरी पड़ी पुरातत्व महत्व के अवशेषों को संग्रहित करने जिले के एक स्थान पर संग्रहालय स्थापित करने की आवश्यकता जताई। कलेक्टर ने एसडीएम कटनी को किसी रिक्त शासकीय भवन की उपलब्धता संग्रहालय के लिये कराने के निर्देश दिये।
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